लखीमपुर खीरी में रविवार को भड़की हिंसा में 8 लोगों की मौत हो गई। आरोप है कि केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा के बेटे आशीष मिश्रा की कार ने प्रदर्शन कर रहे किसानों को रौंद दिया, जिससे 4 की मौत हो गई। वहीं, इसके बाद भड़की हिंसा में 5 लोग (3 बीजेपी कार्यकर्ता, एक ड्राइवर, एक स्थानीय पत्रकार) और मारे गए। हिंसा की यह घटना तिकुनिया में आयोजित दंगल कार्यक्रम में यूपी के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य के पहुंचने से पहले हुई।
क्या था पूरा घटनाक्रम?
दरअसल, रविवार को डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य तय कार्यक्रम के तहत लखीमपुर खीरी के दौरे पर थे। उन्हें रिसीव करने के लिए गाड़ियां जा रही थीं। रास्ते में तिकुनिया इलाके में किसानों ने विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया। इससे झड़प हो गई। बाद में ऐसा आरोप लगाया गया कि आशीष मिश्रा ने किसानों के ऊपर गाड़ी चढ़ा दी, जिससे 4 लोगों की मौत हो गई। किसानों की मौत के बाद मामला बढ़ गया और हिंसा भड़क गई।
जब घटना हुई तब केशव प्रसाद मौर्य कहां थे?
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मौर्य और टेनी निघासन तक पहुंच गए थे। तिकुनिया से करीब 20-25 किलोमीटर पहले तक।
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उन्हें वाया तिकुनिया होते हुए बनवीरपुर जाना था, लेकिन आखिरी पलों में रूट चेंज कर दिया गया था।
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जब घटना हुई उस वक्त मौर्य और टेनी बनवीरपुर से एक किलोमीटर की दूरी पर थे।
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घटना की जानकारी होते ही बनवीरपुर से ठीक पहले उनकी वापसी हो गई थी।
दंगल की क्या कहानी है?
- अजय मिश्रा टेनी के पिता अम्बिका प्रसाद मिश्रा के जमाने से ही टेनी महाराज का परिवार हर साल कुश्ती प्रतियोगिता करवाता आ रहा है।
- अजय मिश्रा के समय में पिछले कुछ सालों से इस प्रतियोगिता में पूरे प्रदेश से पहलवान आने लगे थे। अजय मिश्रा खुद भी पहलवानी का शौक रखते हैं।
- इस प्रतियोगिता का नाम अजय मिश्रा ने आपने पिता के नाम पर रखा है- स्वर्गीय अम्बिका प्रसाद कुश्ती प्रतियोगिता. हर साल बनवीरपुर में यह प्रतियोगिता आयोजित होती है।
घटना के दूसरे दिन यूपी में भारी बवाल
घटना के दूसरे दिन मामले को लेकर भारी बवाल मच गया। इसकी शुरुआत सीतापुर से हुई, जहां देर रात ही कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी लखीमपुर जाने की प्लानिंग करने लगीं। जैसे इसकी खबर पुलिस को लगी, तो उन्हें ढूढ़ना शुरू कर दिया है। सुबह होते ही खबर आई कि पुलिस ने प्रियंका गांधी को हिरासत में ले लिया है। प्रियंका को हिरासत में लेने की खबर आने के बाद देशभर में जगह जगह पर विरोध प्रदर्शन शुरू हो गया।
अखिलेश हाउस अरेस्ट
मामले को तूल पकड़ता देख सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी लखीमपुर खीरी जाने का एलान किया, जिसको देखते ही लखनऊ पुलिस ने सुबह 6 बजे ही उन्हें हाउस अरेस्ट कर लिया। वहीं घर के बाहर ही ट्रक खड़ा कर दिया गया।
देखते ही देखते अखिलेश के आवास के बाहर हजारों संख्या में सपा कार्यकर्ता पहुंच गए। इसके बाद अखिलेश भी घर से बाहर निकल कर सड़क पर धरना देने बैठ गए। मामला बिगड़ते देख पुलिस ने अखिलेश यादव को भी हिरासत में ले लिया।
किसानों और प्रशासन के बीच लंबी बातचीत के बाद सहमति
एक तरफ जहां पूरे प्रदेश में विपक्ष विरोध प्रदर्शन कर रहा था, वहीं लखीमपुर में किसानों और प्रशासन के बीच लंबी बातचीत चल रही थी। शाम होते-होते सरकार की किसानों से सहमति बन गई। किसानों ने मांग की -मृतकों को 45-45 लाख मुआवजा, घायलों को 10-10 लाख मुआवजा, मृतक आश्रितों को सरकारी नौकरी, 8 दिन में आरोपियों की गिरफ्तारी, रिटायर जज के नेतृत्व में केस की जांच। जिसे सरकार ने देने का एलान कर दिया।